आज का दिन- बुधवार 27 अक्टूबर 2021, सात जन्मों के कष्ट काटे श्रीदुर्गासप्तश्लोकी!

आज का दिन- बुधवार 27 अक्टूबर 2021, सात जन्मों के कष्ट काटे श्रीदुर्गासप्तश्लोकी!

प्रेषित समय :21:28:53 PM / Tue, Oct 26th, 2021

- प्रदीप लक्ष्मीनारायण द्विवेदी

यदि प्रतिदिन संभव नहीं हो तो हर बुधवार को देवी भक्तों को कष्ट मुक्त सुखद जीवन के लिए श्रीदुर्गासप्तश्लोकी आराधना करनी चाहिए, इससे सात जन्मों के कष्ट कट जाते हैं...

.. अथ सप्तश्लोकी दुर्गा ..

शिव उवाच...

देवि त्वं भक्तसुलभे सर्वकार्यविधायिनी .

कलौ हि कार्यसिद्ध्यर्थमुपायं ब्रूहि यत्नतः ॥

देव्युवाच...

शृणु देव प्रवक्ष्यामि कलौ सर्वेष्टसाधनम् .

मया तवैव स्नेहेनाप्यम्बास्तुतिः प्रकाश्यते ॥

ॐ अस्य श्रीदुर्गासप्तश्लोकीस्तोत्रमहामन्त्रस्य नारायण ऋषिः .

अनुष्टुभादीनि छन्दांसि . श्रीमहाकालीमहालक्ष्मीमहासरस्वत्यो देवताः .

श्रीदूर्गाप्रीत्यर्थं सप्तश्लोकी दुर्गापाठे विनियोगः ॥

ज्ञानिनामपि चेतांसि देवी भगवती हि सा .

बलादाकृष्य मोहाय महामाया प्रयच्छति ॥1॥

दुर्गे स्मृता हरसि भीतिमशेषजन्तोः

स्वस्थैः स्मृता मतिमतीव शुभां ददासि .

दारिद्र्यदुःखभयहारिणि का त्वदन्या 

सर्वोपकारकरणाय सदाऽऽर्द्रचित्ता ॥2॥

सर्वमङ्गलमाङ्गल्ये शिवे सर्वार्थसाधिके .

शरण्ये त्र्यम्बके गौरि नारायणि नमोऽस्तु ते ॥3॥

शरणागतदीनार्तपरित्राणपरायणे .

सर्वस्यार्तिहरे देवि नारायणि नमोऽस्तु ते ॥4॥

सर्वस्वरूपे सर्वेशे सर्वशक्तिसमन्विते .

भयेभ्यस्त्राहि नो देवि दुर्गे देवि नमोऽस्तु ते ॥5॥

रोगानशेषानपहंसि तुष्टा रुष्टा तु कामान् सकलानभीष्टान् .

त्वामाश्रितानां न विपन्नराणां त्वामाश्रिता ह्याश्रयतां प्रयान्ति ॥6॥

सर्वाबाधाप्रशमनं त्रैलोक्यस्याखिलेश्वरि .

एवमेव त्वया कार्यमस्मद्वैरि विनाशनम् ॥7॥

॥ इति दुर्गासप्तश्लोकी सम्पूर्णा ॥

- आज का राशिफल- 

मेष राशि:- आसानी से लोगों की मदद मिलने की वजह से आप अपने लिए कोई खतरा न पैदा करते चले जाएँ. अपने खर्चों क व्यर्थ में बढ़ा लेना भी एक तरह की गलती है जिसे बेकाबू न होने दें.

वृष राशि:- कामकाज के क्षेत्र में आपके साथी सहयोगी हों या आपके बॉस, किसी से भी मतभेद में बिलकुल न पड़ें. ऐसा करके आप अपनी दिक्कतों को कहीं इतना न बढ़ा लें की उसका बुरा असर आपके काम की स्थिरता पर पड़े.

मिथुन राशि:- किसी प्यार के रिश्ते को समझने में या उसमे समय लगाने में कोई कमी न रखें. हालात मददगार हैं इसलिए भी अपनी स्तिथि का सही आंकलन करना होगा, ताकि घर-परिवार से जुडी चिन्ताओं को लेकर आप कहीं परेशान न हो जाएँ.

कर्क राशि:- घर-परिवार में किसी छोटी बात को लेकर किसी बात को बिगाड़ें नहीं. ऐसे किसी अहम व्यक्ति को नाराज़ कर लेना ठीक नहीं है जो आपकी मदद करना चाह रहा है.

सिंह राशि:- अपनी मेहनत को और अपनी लगन को इस रूप से बनायें की वो आपको लोगों से जोड़ सके. रिश्तों की अच्छी बनती हुई संभावनाओं से कामकाज के क्षेत्र में भी बढ़ोतरी होगी. अपने साथी सह्योगिओं को किसी भी वजह से शक की नजर से बिलकुल न देखें.

कन्या राशि:- किसी भी तरह की बहस में पैसे को मुद्दा न बनायें. ऐसा करने से पैसे के फंसने का अंदेशा हो जायेगा और यही इस समय ठीक नहीं है.

तुला राशि:- चाहे घर-परिवार के रिश्तों की बात हो या किसी प्यार के रिश्ते की, किसी भी एक रिश्ते को बढ़ावा देने के लिए किसी दुसरे रिश्ते को नाराज़ न कर लें. ऐसा करके आप व्यर्थ में लोगों से फासले न बढाते चले जाएँ.

वृश्चिक राशि:- अपनों के करीब आने के जो भी अच्छे मौके मिल रहे हैं उन्हें अपने हाथ से जाने न दें. ऐसे में अपनी सीमाओं से बढ़कर भी कुछ किसी के लिए कुछ करना पड़े तो भी घबराएँ नहीं.

धनु राशि:- अपने दोस्तों से किसी बहस में बिलकुल न पड़ें और अगर कोई बहस छिड जाये तो उसमे सिर्फ अपने फायदे की बात न करते चले जाएँ, ऐसा करके आप कहीं अपनी छवि न बिगाड़ लें.

मकर राशि:- अपने कामकाज में नियमित हो जाने के जो फायदे हैं उन्हें कम न समझें. अपने पैसे की स्तिथि को अगर बचाए रखना है तो बहुत ज्यादा उदारता भी न दिखाएँ. थोडा सा अपना हाथ खींच लें.

कुम्भ राशि:- अपनी अच्छाई को बनाये रखना है तो किसी भी तरह की गलतफ़हमी में न पड़ें. अपनी बात बहुत स्पष्टता से कहें ताकि कोई दिक्कत पैदा ही न हो.

मीन राशि:- अपने काम या कारोबार को लेकर कोई ऐसा बड़ा कदम न उठायें जो आपको किसी खतरे में डाल दे. ऐसे समय में अपनी बचत को भी किसी खतरे में डालना ठीक नहीं होगा.

* आचार्य पं. श्रीकान्त पटैरिया (ज्योतिष विशेषज्ञ) वाट्सएप नम्बर 9131366453

* यहां राशिफल चन्द्र के गोचर पर आधारित है, व्यक्तिगत जन्म के ग्रह और अन्य ग्रहों के गोचर के कारण शुभाशुभ परिणामों में कमी-वृद्धि संभव है, इसलिए अच्छे समय का सद्उपयोग करें और खराब समय में सतर्क रहें.

- बुधवार का चौघडिय़ा -

दिन का चौघडिय़ा               रात्रि का चौघडिय़ा

पहला- लाभ                       पहला- उद्वेग

दूसरा- अमृत                         दूसरा- शुभ

तीसरा- काल                      तीसरा- अमृत

चौथा- शुभ                                   चौथा- चर

पांचवां- रोग                    पांचवां- रोग

छठा- उद्वेग                      छठा- काल

सातवां- चर                             सातवां- लाभ

आठवां- लाभ                        आठवां- उद्वेग

* दिन का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्योदय से सूर्यास्त के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.

* रात का चौघडिय़ा- अपने शहर में सूर्यास्त से अगले दिन सूर्योदय के बीच के समय को बराबर आठ भागों में बांट लें और हर भाग का चौघडिय़ा देखें.

* अमृत, शुभ, लाभ और चर, इन चार चौघडिय़ाओं को अच्छा माना जाता है और शेष तीन चौघडिय़ाओं- रोग, काल और उद्वेग, को उपयुक्त नहीं माना जाता है.

* यहां दी जा रही जानकारियां संदर्भ हेतु हैं, स्थानीय पंरपराओं और धर्मगुरु-ज्योतिर्विद् के निर्देशानुसार इनका उपयोग कर सकते हैं.

* अपने ज्ञान के प्रदर्शन एवं दूसरे के ज्ञान की परीक्षा में समय व्यर्थ न गंवाएं क्योंकि ज्ञान अनंत है और जीवन का अंत है! 

पंचांग  

बुधवार, 27 अक्टूबर, 2021

शक सम्वत1943   प्लव

विक्रम सम्वत2078

काली सम्वत5122

प्रविष्टे / गत्ते11

मास आश्विन

दिन काल11:11:17

तिथिषष्ठी - 10:52:54 तक

नक्षत्रआर्द्रा - 07:08:37 तक

करणवणिज - 10:52:54 तक, विष्टि - 23:56:28 तक

पक्ष कृष्ण

योगसिद्ध - 26:07:16 तक

सूर्योदय06:29:12

सूर्यास्त17:40:30

चन्द्र राशि मिथुन - 27:06:18 तक

चन्द्रोदय22:32:00

चन्द्रास्त12:13:00

ऋतु हेमंत

अभिजित मुहूर्त कोई नहीं

अग्निवास पाताल - 10:50 ए एम तक,  पृथ्वी

दिशा शूल उत्तर

चन्द्र वास पश्चिम - 03:06 ए एम, अक्टूबर 28 तक

उत्तर - 03:06 ए एम, अक्टूबर 28 से पूर्ण रात्रि तक

राहु वास दक्षिण-पश्चिम

*देवी का हार्दिक गरबा...

Source : palpalindia ये भी पढ़ें :-

प्रधानमंत्री ने दी यूपी को 9 मेडिकल कॉलेज की सौगात: कहा- आज का दिन आरोग्य की डबल डोज लेकर आया

आज का दिन- सोमवार 25 अक्टूबर 2021, ऐस्ट्रो डायरी से रहेगा भूत-भविष्य-वर्तमान का हिसाब...

आज का दिन- रविवार 24 अक्टूबर 2021, पति की स्वस्थ दीर्घायु के लिए पत्नी की तपस्या...करवा चौथ व्रत!

Leave a Reply